मित्रो, मैं यदा कदा ब्लॉग पर लिखता रहा हूँ। पर वह सब अंग्रेजी भाषा में हुआ करता था। इधर काफी समय से मेरा ब्लॉग लेखन निष्क्रिय रहा है। दुसरे, मुझे एक प्रकार की आत्मग्लानी का भी अनुभव हुआ कि मैं हिंदी भाषी होते हुए हिंदी में लेखन क्यों नहीं करता। आखिर यह हमारी राष्ट्रभाषा है।
इसी कारण मैंने अपने ब्लॉग का रूपांतर हिंदी में किया है। शीघ्र ही आप मेरे ब्लॉग पर मेरी बात पढ़ सकेंगे।
घनश्याम मौर्य
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें